पंडित माखनलाल चतुर्वेदी
पंडित माखनलाल चतुर्वेदी
⬧ पंडित माखनलाल चतुर्वेदी का जन्म 4 अप्रैल, 1889 मध्य प्रदेश के होशंगाबाद जिले के बाबई गाँव में हुआ।
⬧ उनके पिता का नाम नंद लाल चतुर्वेदी और उनकी माता का नाम सुंदरी बाई था। इनका विवाह ग्यारसी बाई से हुआ था।
⬧ वे मात्र 16 वर्ष की अवस्था में शिक्षक बने।
⬧ कालांतर में अध्यापन कार्य छोड़कर उन्होंने प्रभा पत्रिका का संपादन शुरू किया।
⬧ वे देशभक्त कवि एवं प्रखर पत्रकार थे तथा उन्होंने कर्मवीर और प्रताप का भी संपादन किया।
⬧ हिम किरीटनी, साहित्य देवता, हिम तरंगिनी, वेणु लो गूँजे धरा उनकी प्रमुख कृतियाँ हैं।
⬧ उन्हें पद्मभूषण एवं साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।
⬧ माखनलाल चतुर्वेदी की रचनाएँ राष्ट्रीय भावना से युक्त हैं। उनमें स्वतंत्रता की चेतना के साथ देश के लिए त्याग और बलिदान की भावना मिलती है इसलिए उन्हें एक भारतीय आत्मा कहा जाता है।
⬧ इस उपनाम से उन्होंने कविताएँ भी लिखी हैं। वे एक कवि-कार्यकर्ता थे और स्वाधीनता आंदोलन के दौरान कई बार जेल गए। उन्होंने भक्ति, प्रेम और प्रकृति संबंधी कविताएँ भी लिखी हैं।
⬧ चतुर्वेदी जी कविता में शिल्प की तुलना में भाव को अधिक महत्त्व देते हैं। उन्होंने परंपरागत छंदबद्धता रचना के अनुकूल शब्दों का भी प्रयोग किया है।
⬧ माखनलाल चतुर्वेदी का 79 वर्ष की उम्र में 30 जनवरी, 1968 को देहांत हो गया था।
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