हरिभाऊ उपाध्याय

                   हरिभाऊ उपाध्याय

▪️ ‘दा साहब’ के नाम से प्रसिद्ध हरिभाऊ उपाध्याय का जन्म 24 मार्च, 1892 को मध्य प्रदेश के वर्तमान उज्जैन जिले के भौंरासा में गाँव में हुआ था। 
▪️ भौंरासा में गाँव प्रारम्भिक शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात् वर्ष 1911 में वे उच्च शिक्षा के लिए वाराणसी गए और वहाँ 'औदुम्बर' नामक मासिक पत्र का संपादन किया।
▪️ उपाध्याय राजस्थान में स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख नेताओं में से एक थे। 
▪️ हरिभाऊ ने अजमेर में 'सस्ता साहित्य मण्डल' की स्थापना की। वर्ष 1927 में हरिभाऊ ने अजमेर से 'त्यागभूमि' हिन्दी मासिक पत्रिका का प्रकाशन किया तथा जमनालाल बजाज की प्रेरणा से इसी वर्ष हटूण्डी में 'गाँधी आश्रम' की स्थापना की। 
▪️ उन्होंने आधुनिक भारतीय इतिहास के सबसे लंबे अहिंसक बिजौलिया किसान आंदोलन में अपनी महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई। 
▪️ उन्होंने मेवाड़ के महाराणा और ब्रिटिश रेज़िडेन्ट को अदालत में किसान की माँगों को लेकर उचित प्रकार से समझाने का प्रयास किया लेकिन सफलता नहीं मिली। 
▪️ उपाध्याय ने वर्ष 1916 से वर्ष 1919 के प्रारम्भ तक महावीर प्रसाद द्विवेदी के साथ 'सरस्वती' पत्रिका का सम्पादन किया। 
▪️ तत्पश्चात् वे कानपुर पहुँचे और वहाँ गणेश शंकर विद्यार्थी को दैनिक पत्र 'प्रताप' और मासिक पत्र 'प्रभा' के सम्पादन में सहयोग दिया। 
▪️ उन्होंने गाँधीजी की प्रेरणा और जमनालाल बजाज के सहयोग से अहमदाबाद में साबरमती आश्रम से ‘हिन्दी नवजीवन' नामक पत्र का प्रकाशन शुरू किया तथा इसके साथ ही बनारस से 'मालव मयूर' नामक पत्र का संपादन कार्य भी किया। 
▪️ वर्ष 1929 में उपाध्याय को अजमेर-मेरवाड़ा - राजपूताना - मध्य भारत कांग्रेस कमेटी का सभापति बनाया गया। 
▪️ वर्ष 1930 में नमक सत्याग्रह के सिलसिले में उन्हें पहली बार जेल भेजा गया, वहाँ उन्होंने गीता का हिन्दी में समश्लोकी अनुवाद किया। 
▪️ राजस्थान सेवा संघ के 'तरुण राजस्थान' का सम्पादन कार्य भी इन्होंने संभाला।  
▪️ आज़ादी के बाद हरिभाऊ वर्ष 1951 से 1956 तक अजमेर-मेरवाड़ा राज्य के प्रथम व अंतिम मुख्यमंत्री बने। 
▪️ इसके बाद उपाध्याय वर्ष 1965 तक सुखाड़िया मंत्रिमण्डल में शिक्षा, वित्त, योजना, समाज कल्याण और खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री रहे। 
▪️ वे एक महान साहित्यकार और पत्रकार भी थे। उन्होंने लोगों को पूरे दिल से स्वतंत्रता संग्राम में शामिल होने के लिए प्रेरित करने वाले कई निबंध लिखे और कई समाचार पत्रों और पत्रिकाओं का संपादन किया।
▪️ हरिभाऊ उपाध्याय ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई।
▪️ उन्होंने अपने कार्यों और अपने शब्दों से राजस्थान और मध्य प्रदेश में हजारों लोगों को देश की मुक्ति के लिए प्रतिबद्ध होने के लिए प्रेरित किया।

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